पौष महीने की पुत्रदा एकादशी कब है और क्या महत्त्व है, Putrada Ekadashi Vrat Ka Jyotish Mahattw, क्या करे पुत्रदा एकादशी को संतान सुख के लिए.
हिन्दू पंचांग के अनुसार जो एकादशी पौष महीने की शुक्ल पक्ष को आती है उसे भारत में पवित्र एकादशी या फिर पुत्रदा एकादशी के रूप में मनाया जाता है. ये पवित्र दिन भगवान् विष्णु को समर्पित है. इस दिन पति और पत्नी दोनों ही व्रत रखते हैं जिससे की स्वस्थ संतान की प्राप्ति हो. ये व्रत वैष्णव सम्प्रदाय में बहुत माना जाता है.
सन 2022 में 13 अगस्त, गुरुवार को है पवित्रा एकादशी का व्रत रहेगा |
Putrada Ekadashi Vrat Ka Jyotish Mahattw |
आइये जानते हैं की पौष मास की पवित्रा एकादशी का महत्त्व:
इस बार २०२२ में अभी खरमास चल रहा है जो की भगवान विष्णु की पूजा के लिए विशेष महिना होता है और एकादशी भी भगवान विष्णु को समर्पित है | इसी बार पुत्रदा एकादशी खरमास में आ रही है जिससे इसका महत्त्व बहुत ज्यादा बढ़ जाता है | अतः जो दंपत्ति स्वस्थ संतान चाहते हैं, उन्हें इस दिन विशेष रूप से पूजा करनी चाहिए |
पवित्र एकादशी या फिर पुत्रदा एकादशी उन लोगो के लिए बहुत महत्त्व रखता है जो लोग सिर्फ पुत्र की कामना रखते हैं. अगर कोई दंपत्ति इस दिन उपवास रखता है और पूजा करता है तो भगवान् विष्णु की कृपा से उन्हें पुत्र रत्न की प्राप्ति होती है.
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आइये जानते हैं क्या कर सकते हैं पुत्रदा एकादशी के दिन ?
- इस दिन नहाने के पानी में थोडा तिल मिला के पवित्र स्नान करना चाहिए भगवन विष्णु का ध्यान करके |ऐसी मान्यता है ऐसा करने से अनजाने में हुए पापो से मुक्ति मिलती है और स्वास्थ्य, सम्पन्नता की प्राप्ति होती है |
- भगवान विष्णु का शंख से अभिषेक करना चाहिए साथ ही उन्हें तुलसी के पत्ते भेंट करने चाहिए |
- इस दिन पीपल के पेड़ की पूजा भी की जाती है क्यूंकि पीपल में वासुदेव का वास माना जाता है |
- पुत्रदा एकादशी को केले के पेड़ की पूजा भी कर सकते हैं, इससे भी लाभ होता है |
- अपने सामर्थ्य अनुसार जरुरत मंदों को गर्म कपडे, तिल और गुड़ भी जरुर बांटे, इससे भगवान विष्णु की कृपा प्राप्त होगी और मनोकामना पूरी होगी |
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जानिए कुछ ख़ास बाते पुत्रदा या पवित्र एकादशी की पूजा के लिए:
- ये उपवास पति और पत्नी दोनों को रखना होता है.
- इस उपवास को करने के लिए पूर्ण ब्रह्मचर्य का पालन करे.
- पुरे दिन और रात्री को कुछ न खाएं.
- भगवान् विष्णु की पूजा, अराधना में लगे रहे.
- विष्णु जी की पंचोपचार पूजा करे.
- पूरा समय मन्त्र जप, भजन, होम करने में लगाएं.
- भगवान् से पुत्र रत्न के लिए प्रार्थना करे.
- विष्णु सहस्त्र नाम का जप भी बहुत लाभ देगा.
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- क्या कर सकते हैं स्वस्थ संतान के लिए वैदिक ज्योतिष के अनुसार.
- कौन सा रत्न संतान सुख को बढ़ाएगा |
- कौन सी पूजा करनी चाहिए भाग्य जगाने के लिए |
- कैसे दूर करें संतान बाधा को ?
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